कांग्रेस के विरोध मार्च में हिंसा, पुलिस ने छोड़ी पानी की बौछारें.

कांग्रेस के विरोध मार्च में हिंसा, पुलिस ने छोड़ी पानी की बौछारें. शशि थरूर ने कहा , कोई चेतावनी नहीं? पुलिस ने जिस वक्त आंसू गैस के गोले और पानी की बौछारें छोड़ी उसे वक्त केरल प्रदेश कांग्रेस कमेटी प्रमुख के. सुधाकरण, विधानसभा में विपक्ष के नेता वीडी सतीशन और वरिष्ठ नेता रमेश चेन्निथला सहित कई वरिष्ठ नेता पुलिस महानिदेशक कार्यालय के पास अस्थाई मंच पर मौजूद थे.

हैदराबाद से तेलंगाना ब्यूरो चीफ देहाती विश्वनाथ की एक्सक्लूसिव रिपोर्ट.

तिरुवनंतपुरम /हैदराबाद,23 दिसंबर, 2023. केरल में विपक्षी दल कांग्रेस के प्रदर्शन के दौरान हिंसा होने की खबरें हैं . प्रदर्शनकारियों ने पुलिस कर्मियों पर पथराव किया, इसके बाद भीड़ को काबू में करने के लिए पुलिस ने पानी की बौछारें छोड़ी. यह मार्च केरल प्रदेश कांग्रेस कमेटी ( केपीसीसी ) ने वाम सरकार के लोगों तक पहुंचाने के कार्यक्रम ‘ नव केरल सदास ‘ के खिलाफ आंदोलन के दौरान अपने कार्यकर्ताओं पर पुलिस के कथित अत्याचार के विरोध में आयोजित किया था. सुधाकरण और चेन्निथला को कर तक पहुंचाया.+ बताया जा रहा है कि जिस वक्त पुलिस ने आंसू गैस के गोले और पानी की बौछारें छोड़ी उसे वक्त केपीसीसी प्रमुख के सुधाकरण, विधानसभा में विपक्ष के नेता विडी सतीशन और वरिष्ठ नेता रमेश चेन्निथला सहित कई वरिष्ठ नेता पुलिस महानिदेशक कार्यालय के पास अस्थाई मंच पर मौजूद थे. सुधाकरण और चेन्निथला पुलिस के आंसू गैस गोले से जख्मी हो गए, जिसके बाद कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने उन्हें पास खड़ी एक कार तक पहुंचाया. सुधाकरण जैसे ही अपना भाषण समाप्त किया, पार्टी सदस्य डीजीपी कार्यालय के पास लगाए गए अवरोधकों पर चढ़ गए और उन्होंने सुरक्षा घेरे को पार करने का प्रयास किया. सतीशन के संबोधन के दौरान पानी की बौछरें छोड़ी गई. हालांकि, अफरा तफरी के माहौल में सभा समाप्त हो गई . बाद में इस घटना पर मीडिया से चर्चा करते हुए कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने कहा, यह बेहद हैरान वाला अनुभव रहा. मैं व्यक्तिगत रूप से लोकतंत्र और मानवाधिकारों के प्रति उनकी अवमानना की बेशर्मी का गवाह था. कांग्रेस कार्यकर्ता शांतिपूर्ण तरीके से विरोध कर रहे थे. बड़े-बड़े नेताओं के भाषण हो रहे थे. अचानक बिना किसी भी उकसावे के मंच के ठीक पीछे एक आंसू गैस का गोला फटा और पानी की बौछारें की गई. हमें समझ में नहीं आ रहा था कि क्यों कोई चेतावनी जारी किए बिना पुलिस कांग्रेस कार्यकर्ताओं पर अत्याचार कर रही थी? शशि थरूर ने कहा, मैंने तुरंत पुलिस महानिदेशक को फोन किया और कड़ी भाषा में इसकी निंदा की है . यह एक अपराधिक कृत्य था. यह बिना किसी उकसावे के, बिना किसी चेतावनी के हुआ. ऐसा समझ आ रहा है कि केरल अराजक शासन का गवाह बन रहा है, जिन्हें कानून का पालन करने वालों पर हमला करने की पूरी आजादी दी गई है. मैं इसे संसद के अध्यक्ष के समक्ष भी उठाने जा रहा हूं क्योंकि मंच पर मौजूद आधा दर्जन सांसदों के संसदीय विशेषाधिकार का उल्लंघन किया गया है.