कौन हैं ‘ लेडी अमिताभ’ ?

कौन हैं ‘ लेडी अमिताभ’ ? सोनिया गांधी के खिलाफ ठोकी थी ताल, उसे ही कांग्रेस ने क्यों बनाया

विजयाशांति एक मशहूर अभिनेत्री हैं, जिन्होंने हिंदी, तमिल, तेलुगू, मलयालम और कन्नड़ भाषाओं में करीब 180 फिल्मों में शानदार अभिनय किया है.

हैदराबाद, 12 मार्च, 2025. तेलंगाना में 20 मार्च को विधान परिषद के लिए चुनाव होने हैं . कांग्रेस ने 3 उम्मीदवारों को मैदान में उतारा है, जिनमें फिल्म अभिनेत्री विजयाशांति के साथ-साथ अद्दाकी दयाकर और केथवथ शंकर नाईक भी शामिल है. बीआरएस के 4 और एआइएमआइएम के 1 विधान पार्षद का कार्यकाल पूरा होने के कारण 5 सीटों पर चुनाव हो रहे हैं. कांग्रेस ने अपने चुनावी गठबंधन समझौते के तहत सहयोगी भाकपा को 1 सीट की पेशकश की है . भाकपा ने नेल्लिकंती सत्यम को अपना उम्मीदवार घोषित किया है. बीते कल कांग्रेस-भाकपा के उम्मीदवारों ने नामांकन किया.
सोमवार को नामांकन दाखिल का अंतिम दिन था . वहीं, बीआरएस ने श्रवण दसोजू को अपना उम्मीदवार बनाया है. तेलंगाना की 119 सदस्यीय विधानसभा में कांग्रेस के 65 विधायक हैं, जबकि मुख्य विपक्षी दल बीआरएस के पास 38 विधायक हैं . हालांकि उसके 10 विधायक कांग्रेस में शामिल हो गए हैं. विधानसभा में संख्या बल के आधार पर कांग्रेस के 4 और बीआरएस के 1 सीट जीतने की संभावना है. इस एमएलसी चुनाव में जिस एक चेहरे और नाम की सबसे ज्यादा चर्चा हो रही है, वह है विजयाशांति.

कौन है विजयाशांति और ‘ लेडी अमिताभ’ क्यों कहलाती है ?

विजयाशांति एक मशहूर अभिनेत्री हैं, जिन्होंने हिंदी, तमिल, तेलुगू, मलयालम और कन्नड़ भाषाओं में करीब 180 फिल्मों में शानदार अभिनय किया है . फिल्मों में पुलिस अधिकारी के रोल में अपनी कई भूमिकाओं के लिए विजयाशांति प्रशंसकों के बीच ‘ लेडी अमिताभ’ के तौर पर जानी जाती रही है. विजयाशांति को जितनी फिल्मों में सफलता मिली, उतना राजनीति में सफलता नहीं मिल सकी . हालांकि, वह टीआरएस की ओर से लोकसभा सांसद रह चुकी हैं . उन्होंने तेलंगाना राज्य गठन के लिए एक अलग पार्टी भी बनाई थी, लेकिन बाद में टीआरएस समेत कई दलों में शामिल रही.

कांग्रेस – भाजपा समेत कई दलों से रहा नाता

विजयाशांति ने अपने राजनीतिक कैरियर की शुरुआत 1990 के दशक के अंत में बीजेपी के साथ की थी . हालांकि, 1996 में वह जयललिता के नेतृत्व वाली एआईएडीएमके के साथ हो चली. उस वक्त वह जय ललिता की खास और उनकी पार्टी के स्टार प्रचारक को में से एक थी. बाद में फिर उन्होंने बीजेपी में वापसी कर ली . बीजेपी में उन्होंने महिला शाखा की महासचिव के रूप में काम किया.

सोनिया के खिलाफ ठोकी थी ताल

1999 के लोकसभा चुनावों में जब सोनिया गांधी ने अपना पहला चुनाव संयुक्त आंध्र प्रदेश की कड़प्पा लोकसभा सीट से लड़ने का फैसला किया, तब विजयाशांति ने भाजपा उम्मीदवार के रूप में सोनिया गांधी के खिलाफ ताल ठोकने का ऐलान कर दिया और बीजेपी ने उन्हें कड्डपा से मैदान में उतार भी दिया. हालांकि, सोनिया गांधी ने अपना फैसला बदल दिया और पड़ोसी राज्य कर्नाटक के बेल्लारी सीट से चुनाव लड़ने का फैसला किया. तब विजयाशांति ने कड्डपा से अपनी उम्मीदवारी वापस ले ली थी. विजयाशांति 2023 के तेलंगाना विधानसभा चुनावों में, फिर से कांग्रेस में शामिल हो गई और अब वह कांग्रेस से तेलंगाना विधान परिषद के लिए बतौर कांग्रेस प्रत्याशी चुनाव लड़ रही हैं .